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कोरबा

Korba: जानिए जिले में क्यों हो रहा जीआईएस आधारित ड्रोन सर्वे, ये हैं कारण

अविनाश @कोरबा। (Korba) गांव की आबादी भूमि का रिकॉर्ड तैयार करने कोरबा जिले में जीआईएस आधारित ड्रोन सर्वे शुरू हो गया है। यह सर्वे राजस्व विभाग और भारतीय सर्वेक्षण विभाग के द्वारा संयुक्त रूप से किया जा रहा है। सर्वे के तहत ग्रामीण आबादी का जीआईएस प्रणाली द्वारा भू-मापन करके अधिकार अभिलेख तैयार किए जाएंगे। सर्वे के बाद ग्रामीण संपत्ति का रिकॉर्ड भी तैयार होगा जिससे ग्राम पंचायते और बड़ी संख्या में ग्रामीणजन भी लाभान्वित होंगे। कोरबा जिले में यह सर्वे आज से शुरू हो गया है। सर्वेक्षण का काम 17 जनवरी 2022 तक चलेगा। पहले चरण में कोरबा और करतला विकासखण्डों के ग्रामीण क्षेत्रों में यह सर्वे शुरू हुआ है।

करबा विकासखण्ड के 96 गांवो में और करतला विकासखण्ड के 117 गांवो में ग्रामीण आबादी सर्वे किया जाएगा। कोरबा विकासखण्ड में आज सोनगुड़ा गांव से यह सर्वे शुरू हुआ। कोरबा विकासखण्ड के 96 गांवो में सर्वे 07 जनवरी 2022 तक पूरा किया जाएगा। करतला विकासखण्ड में आज कथरीमाल, घुमिया, तरदा और बैगापाली गांवो से ग्रामीण आबादी का ड्रोन सर्वे शुरू हुआ। करतला विकासखण्ड में 117 गांवो में 13 जनवरी 2022 तक सर्वेक्षण का काम होगा।

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अपर कलेक्टर सुनील नायक ने बताया कि भारत सरकार ने ग्रामीण आबादी सर्वे के लिए स्वामित्व योजना शुरू की है। इसी योजना के तहत जिले की ग्रामीण आबादी का जीआईएस आधारित सर्वेक्षण और भू-मापन काम अगले एक महीने में पूरा किया जाना है। उन्होंने बताया ग्रामीण आबादी का सर्वेक्षण करके अधिकार अभिलेख तैयार किए जाएंगे। भारतीय सर्वेक्षण विभाग द्वारा ड्रोन के माध्यम से ग्रामीण आबादी स्थल की इमेजनरी जानकारी एकत्रित की जाएगी। इसके बाद आबादी भूमि का डिजिटल प्रारूप नक्शा तैयार किया जाएगा। प्रारूप नक्शे भूखण्ड डेटा के साथ पहले से उपलब्ध पूरे डेटा का उपयोग कर अभिलेख अधिकार तैयार किया जाएगा।

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