छत्तीसगढ़जिलेसरगुजा-अंबिकापुर

ग्रामीणों के साथ जवानों का तालमेल, जानिए कभी नक्सल प्रभावित रहे इस गांव की कैसे बदली तस्वीर

शिव शंकर साहनी@अंबिकापुर। छत्तीसगढ़ और झारखंड की सीमा पर 62वीं केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल की तैनाती ने ग्रामीण क्षेत्र के रहवासियों के बीच तालमेल बनाने में सफल रही है. यही वजह है कि विकास से दूर चुनचुना पुंदाग, सबाग सहित भुताई जैसे इलाकों में आज विकास पहुँचना संभव हो पाया हैं. दरसअल सरगुजा संभाग के बलरामपुर जिले के छत्तीसगढ़ और झारखंड की सीमा पर बसे चुनचुना पुंदाग, सबाग सहित भुताई घोर नक्सल प्रभावित क्षेत्र रहा करता था. जहां ग्रामीण डर के साए सहित विकास से कोसों दूर रहे. लेकिन 62 वी केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल के द्वारा इस क्षेत्र में दो कैंप की स्थापना के बाद से इस गांव की दिनचर्या पटरी पर आ गई है. क्योंकि केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल द्वारा समय-समय पर सिविक एक्शन कार्यक्रम चलाकर ग्रामीणों को घरेलू सामान सहित मूलभूत सुविधा पहुंचाने का कार्य लगातार किया जा रहा है. यही वजह है कि ग्रामीण और 62 वी केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल के बीच बेहतर तालमेल देखने को मिला है. जिसका सीधा असर विधानसभा चुनाव में भी देखने को मिला क्योंकि वोट प्रतिशत पहले के मुकाबले इस बार ज्यादा रहा है और आने वाले लोकसभा चुनाव में भी बेहतर परिणाम भी देखने को मिलेंगे।

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