रायपुर। शनिवार को कवासी लखमा अपने विधानसभा क्षेत्र कोंटा के दौरे पर थे। यहां गौरव दिवस पर आयोजित एक कार्यक्रम में शामिल होने पहुंचे थे। इस दौरान उन्होंने मीडिया से भी बातचीत की। कवासी लखमा ने कहा कि, आरक्षण की यह लड़ाई बहुत आगे तक जाएगी। यह आदिवासी, पिछड़ा वर्ग का प्रदेश है। मैं राज्यपाल का बहुत सम्मान करता हूं। उनके पद की एक गरिमा है और वे उस पद की गरिमा को सड़क पर मत लाएं। छत्तीसगढ़ के राजभवन में कानून की धज्जियां उड़ाई जा रही हैं। अगर राज्यपाल सच्ची आदिवासी हैं, तो वे आरक्षण के बिल पर दस्तखत करें।
उन्होंने आगे कहा कि राज्यपाल ने बड़ी-बड़ी बातें की थी कि विधानसभा में जैसे ही आरक्षण बिल पास होगा मैं दस्तखत कर दूंगी। लेकिन, कई दिन गुजर गए उन्होंने दस्तखत नहीं किए। भाजपा ने राज्यपाल को गुमराह कर दिया। आज वे कानून की धज्जियां उड़ा रही हैं। यदि आरक्षण बिल पास नहीं होता है तो हम सड़क से लेकर सदन तक की लड़ाई लड़ेंगे।
कवासी लखमा ने कहा कि, मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के कार्यकाल को 4 साल पूरे हो गए हैं। सरकार ने भूमिहीन किसानों को पट्टा दिया। पढ़े लिखे युवाओं की पुलिस में भर्ती हुई है। केंद्र सरकार रोजगार नहीं दे रही। लेकिन हमारी सरकार ने युवाओं को रोजगार दिया है। उन्होंने भाजपा पर निशाना साधते हुए कहा कि, BJP आदिवासी और पिछड़ा वर्ग विरोधी पार्टी है। इनका चेहरा अब उजागर हुआ है।