SECL ने वृक्षारोपण कर पेश की नई मिसाल, 65 हजार पौधे लगाने का लक्ष्य, ग्रामीणों को भी मिलेगा फायदा

अंकित सोनी@सूरजपुर। जिले के एसईसीएल (SECL) में वन महोत्सव मनाया गया। जहां फिर एक बार कोयलांचल क्षेत्र जिले मे वृक्षारोपण के नए लक्ष्य कि शुरुआत करते हुए मिसाल बनते नजर आ रहे हैं।
पर्यावरण के संतुलन के लिए वृक्षों की जरुरत कोरोना काल ने हर किसी को समझा दिया है। ऐसे मे पेड़ों के महत्व को लोग समझ चुके हैं,लेकिन कई बार वन महोत्सव जैसे कार्यक्रम केवल दिखावा मात्र साबित होता है।
सूरजपुर जिले का कोयलांचल क्षेत्र पिछले कई वर्षो से वृक्षारोपण को लेकर किर्तीमान रच रहा है। जहां पिछले तीन सालों में एसईसीएल भटगांव ने ही दो लाख से ज्यादा पेड़ लगाकर उनका देखरेख कर रहे हैं। फिर इस साल 65 हजार पौधो का रोपण करने का लक्ष्य रखा है।
एसईसीएल(SECL) भटगांव के महाप्रबंधक एसएम झा ने बताया कि एसईसीएल जितना कोयला उत्पादन करता है उससे ज्यादा पौधारोपण कर प्रकृति के संतुलन बनाने कि जिम्मेदारी भी उठा रहा है। प्रतिवर्ष हजारो कि संख्या में पौधारोपण किया जा रहा है और अब तो फलदार वृक्षों पर ज्यादा ध्यान दिया जा रहा है। जिससे कि आने वाले दिनो मे ग्रामीणों को इन फलदार पौधों से आमदनी भी हो सकेगी।
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जहां सूरजपुर जिले मे एसईसीएल कंपनी विकास से लेकर पर्यावरण संतुलन बनाने मे अपनी अहम भुमिका निभाती हैं। ऐसे मे जिले का वन विभाग भी कोल कंपनी कि पौधारोपण मे अहमियत कि तारीफ करते नहीं चुकते।
(SECL) बहरहाल सूरजपुर जिले मे पौधारोपण अभियान तो कई चलाए जाते हैं, लेकिन एसईसीएल भटगांव के पौधारोपण और उनके संरक्षण मे लाखों रुपए किए जाने वाले खर्च आने वाले भविष्य मे जिले को हरियाली मे तब्दील करने मे बेहत कारगर साबित होगा।