
रायपुर। मुख्यमंत्री विष्णु देव साय का बयान सामने आया है। खनिज विभाग द्वारा एक आदेश जारी हुआ था। संचालक के द्वारा 15 जुलाई 2020 को आदेश के द्वारा यह व्यवस्था दी गई थी कि खनिज सम्मिलित द्वारा ई परमिट का भौतिक सत्यापन करने के बाद ही इस ट्रांजिट पास किया जा सकेगा। इससे पहले जो ऑनलाइन प्रक्रिया थी उसे बंद कर कर ऑफलाइन किया गया। जिसके कारण परिवहन में भी लेट होता था और भ्रष्टाचार का भी समावेश हो गया था। लेकिन आज मुझे बताते हुए गौरव हो रहा है कि हमारी सरकार पारदर्शिता भ्रष्टाचार मुक्त और सुशासन को ध्यान में रखते हुए उक्त 15 जुलाई 2020 के कानून को निरस्त किया है और उर्वरक ऑनलाइन टीपी जारी होगा। कोयला परिवहन में भ्रष्टाचार हुआ था और छवि खराब हुई थी।
ईडी उस पर जांच भी कर रही है। कई लोग संचालक और माइनिंग ऑफिसर आज जेल के अंदर में है इससे प्रदेश की छवि खराब हुई।