छत्तीसगढ़ में मतदाता सूची का विशेष गहन पुनरीक्षण, BLO को दी जा रही ट्रेनिंग

रायपुर। छत्तीसगढ़ में बिहार के बाद मतदाता सूची का विशेष गहन पुनरीक्षण (Special Intensive Revision – SIR) प्रस्तावित है। एसआइआर कोई नया प्रविधान नहीं है, बल्कि पहले भी ऐसा किया जा चुका है। मध्य प्रदेश के विभाजन के बाद 2003 में विधानसभा चुनाव से पूर्व छत्तीसगढ़ में मतदाता सूची का विशेष गहन पुनरीक्षण हुआ था। 22 साल बाद इस साल फिर से एसआइआर का आयोजन किया जा रहा है।
बस्तर जिले में इसकी तैयारी शुरू हो चुकी है। निर्वाचन आयोग के दिशा-निर्देशों के अनुसार बूथ लेवल आफिसर्स (BLO) को पहले चरण का प्रशिक्षण दिया गया है। बस्तर में 783 मतदान केंद्र हैं और प्रत्येक केंद्र में एक BLO कार्यरत है। जिले में साढ़े छह लाख से अधिक मतदाता हैं। BLO को प्रशिक्षण में एक प्रपत्र दिया गया है, जिसमें 2003 और 2025 की मतदाता सूचियों के आधार पर मतदाताओं की सूची तैयार की जाएगी।
विशेष गहन पुनरीक्षण के तहत एक-एक मतदाता का दस्तावेजी साक्ष्य के आधार पर सत्यापन किया जाएगा। इससे गलत जानकारी देकर मतदाता सूची में नाम जोड़वाने वाले बाहर रहेंगे। इस प्रक्रिया में ऐसे मतदाता जिनका नाम दोनों सूची में है, उनका सत्यापन किया जाएगा। वहीं, 2025 की सूची में शामिल ऐसे मतदाता जिनके माता-पिता का नाम 2003 की सूची में नहीं है, उन्हें अपने निवासी होने और पहचान स्थापित करने के लिए आवश्यक दस्तावेज जमा करने होंगे।
सेवानिवृत्त कर्मचारियों के अनुसार, पांच वर्ष में एक बार एसआइआर होना आवश्यक है। इसके अलावा, विशेष संक्षिप्त पुनरीक्षण अभियान भी चुनाव से पहले नियमित रूप से चलता रहा है। इसके तहत नाम जोड़ना, विलोपित करना और निवास पता अपडेट करना शामिल होता है। BLO प्रशिक्षण और घर-घर सत्यापन के बाद मतदाता सूची को अधिक सटीक और पारदर्शी बनाने का प्रयास किया जाएगा। इस प्रक्रिया से चुनाव में धोखाधड़ी और अवैध मतदाता जोड़ने की संभावना कम होगी।