CG: एडसमेटा में हुई मुठभेड़ फर्जी, विशेष न्यायिक जांच आयोग की रिपोर्ट विधानसभा में पेश

रायपुर। एडसमेटा में हुई मुठभेड़ फर्जी थी। विशेष न्यायिक जांच आयोग की रिपोर्ट मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने सोमवार को विधानसभा के पटल पर रखी। इसके साथ ही रिपोर्ट सार्वजनिक हो गई। जस्टिस वीके अग्रवाल ने पिछले साल सितंबर में में ही अपनी रिपोर्ट सरकार को सौंप दी थी। बता दें कि सुरक्षाबलों ने घबराहट में ग्रामीणों पर गोली चला दी थी। इसमें 8 ग्रामीणों की मौत हो गई थी। मारे जाने वाले में 4 नाबालिग भी शामिल थे। ग्रामीणों के मुताबिक सभी पंडुम मनाने के लिए इकट्ठे हुए थे। तभी सर्चिंग के लिए निकले जवानों ने ग्रामीणों पर फायरिंग शुरू कर दी। लेकिन सुरक्षाबलों ने दावा किया था कि वहां नक्सली थे। उन्होंने ग्रामीणों को ढाल बनाया। जिससे गोलीबारी में ग्रामीणों की मौत हुई।जो कि पंडुम मनाने के लिए एक जगह इकट्ठे हुए थे।
क्या है एडसमेटा कांड
घटना 17-18 मई 2013 की दरमियानी रात की है। ग्रामीण एडसमेटा गांव में पंडुम मनाने के लिए जुटे हुए थे। तभी जवान नक्सल ऑपरेशन के लिए निकले थे। आग के पास ग्रामीणों का झूंड बैठा हुआ था। जिसे नक्सली समझकर जवानों ने गोलीबारी कर दी। गोलीबारी में 4 नाबालिग समेत 8 लोगों की मौत हुई थी।
सुरक्षाबलों का दावा- वहां थे नक्सली
हालांकि सुरक्षाबलों का दावा था कि वहां नक्सली थे। उन्होंने ग्रामीणों को ढाल बनाया और फिर क्रॉस फायरिंग में उनकी मौत हुई। जबकि ग्रामीणों का कहना है कि वे उस रात बीज पंडुम उत्सव मनाने वहां आए थे। वहां कोई नक्सली नहीं था। वहीं माना जा रहा है कि इस रिपोर्ट के बाद सियासत एक बार फिर गरमा सकती है।