छत्तीसगढ़ में कल से शुरू होगा मतदाता सूची का घर-घर सत्यापन, केवल 5-6% लोगों को ही देने होंगे दस्तावेज

रायपुर। छत्तीसगढ़ में विशेष गहन पुनरीक्षण (Special Intensive Revision – SIR) के तहत 4 नवंबर से घर-घर गणना चरण की शुरुआत होगी। इस दौरान बीएलओ (BLO) मतदाताओं के घर जाकर पहचान पत्रों का सत्यापन करेंगे। मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी (CEO) यशवंत कुमार ने सोमवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि इस प्रक्रिया में केवल 5 से 6 प्रतिशत मतदाताओं को ही दस्तावेज देने की आवश्यकता होगी, जबकि बाकी के मतदाताओं का डेटा पहले से उपलब्ध है।
उन्होंने कहा कि जिन मतदाताओं का नाम 2003 के एसआईआर में है, उन्हें दोबारा दस्तावेज देने की जरूरत नहीं है। वहीं असुविधा होने पर मतदाता हेल्पलाइन नंबर 1950 पर कॉल कर सहायता प्राप्त कर सकते हैं।
निर्वाचन कार्यालय के अनुसार, घर-घर सत्यापन का कार्य 4 नवंबर से 4 दिसंबर 2025 तक चलेगा। मसौदा मतदाता सूची 9 दिसंबर को प्रकाशित की जाएगी, जबकि दावे-आपत्तियां 8 जनवरी 2026 तक स्वीकार की जाएंगी। अंतिम मतदाता सूची 7 फरवरी 2026 को जारी की जाएगी।
सीईओ ने बताया कि अब तक 71 प्रतिशत मतदाताओं का मिलान पूरा हो चुका है। एन्यूमरेशन फेज में यह प्रतिशत 94 से 95 तक पहुंच जाएगा। उन्होंने कहा कि 2003 के बाद कई मतदाता स्थानांतरित हुए हैं, विशेषकर विवाहित महिलाएं, जिनका अब अन्य मतदान केंद्रों से मिलान किया जा रहा है।
भारत निर्वाचन आयोग ने इस बार कई नवाचार लागू किए हैं ताकि मतदाताओं को अधिक सुविधा मिल सके। बीएलओ अब ‘कॉल रिक्वेस्ट’ फीचर के जरिए मतदाताओं की समस्याएं हल करेंगे। सीईओ ने राजनीतिक दलों से भी सहयोग की अपील की है कि वे अपने बूथ स्तरीय एजेंटों (BLA) के माध्यम से आयोग की टीम को मदद दें, ताकि छूटे हुए पात्र नागरिकों को जोड़ा जा सके और मृत या स्थानांतरित मतदाताओं के नाम हटाए जा सकें।



