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Gyanvapi Mosque: ज्ञानवापी मस्जिद को लेकर क्या है विवाद? जानिए

वाराणसी। वाराणसी में काशी विश्वनाथ मंदिर से सटी ज्ञानवापी मस्जिद इस समय कानूनी लड़ाई का सामना कर रही है। वाराणसी की एक अदालत ने भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआई) को ज्ञानवापी मस्जिद की संरचना की जांच करने का निर्देश दिया है।

सुप्रीम कोर्ट, इलाहाबाद हाई कोर्ट और वाराणसी कोर्ट के समक्ष कई याचिकाएं दायर की गई हैं, जिसमें आरोप लगाया गया है कि 16 वीं शताब्दी में काशी विश्वनाथ मंदिर को ध्वस्त करके मस्जिद का निर्माण मुगल सम्राट औरंगजेब ने किया था।

ज्ञानवापी मामला और मूल याचिका

वर्ष 1991 में वाराणसी की अदालत में एक याचिका दायर की गई थी जहां याचिकाकर्ताओं, स्थानीय पुजारियों ने ज्ञानवापी मस्जिद क्षेत्र में पूजा करने की अनुमति मांगी थी।

याचिकाकर्ताओं ने कहा कि मस्जिद का निर्माण औरंगजेब के आदेश पर 16वीं शताब्दी में उसके शासनकाल के दौरान काशी विश्वनाथ मंदिर के एक हिस्से को तोड़कर किया गया था।

मामला कब पुनर्जीवित हुआ?

वाराणसी के एक वकील विजय शंकर रस्तोगी ने निचली अदालत में याचिका दायर कर ज्ञानवापी मस्जिद के निर्माण में अवैधता का दावा किया और मस्जिद के पुरातात्विक सर्वेक्षण की मांग की। यह दिसंबर 2019 में अयोध्या के बाबरी मस्जिद-राम जन्मभूमि शीर्षक विवाद में सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद आया था।

अप्रैल 2021 में वाराणसी की अदालत ने एएसआई को सर्वेक्षण करने और अपनी रिपोर्ट जमा करने का निर्देश दिया। हालांकि, उत्तर प्रदेश सुन्नी सेंट्रल वक्फ बोर्ड और ज्ञानवापी मस्जिद चलाने वाली अंजुमन इंतेजामिया मस्जिद कमेटी ने रस्तोगी की याचिका का विरोध किया और मस्जिद के सर्वेक्षण के वाराणसी कोर्ट के आदेश का भी विरोध किया।

ज्ञानवापी मस्जिद विवाद

काशी विश्वनाथ मंदिर-ज्ञानवापी मस्जिद विवाद को भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) विश्व हिंदू परिषद (विहिप) और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) ने कृष्णजन्मभूमि-शाही के साथ अयोध्या में राम मंदिर निर्माण के अभियान के दौरान उठाया था। मथुरा में ईदगाह मस्जिद। उन्होंने दावा किया कि तीनों मस्जिदों का निर्माण हिंदू मंदिरों को तोड़कर किया गया था।

मामले की वर्तमान स्थिति

– दिल्ली की पांच महिलाओं द्वारा एक याचिका दायर कर हिंदू देवी-देवताओं की दैनिक पूजा करने की अनुमति मांगी गई थी, जिनकी मूर्तियाँ ज्ञानवापी मस्जिद की बाहरी दीवार पर स्थित हैं।

– कोर्ट ने ज्ञानवापी-गौरी श्रृंगार परिसर में बेसमेंट के सर्वे और वीडियोग्राफी के लिए कमेटी गठित कर 10 मई तक रिपोर्ट देने को कहा है.

– मस्जिद समिति की आपत्तियों के बीच सर्वेक्षण को रोक दिया गया था, जिसमें दावा किया गया था कि अदालत द्वारा नियुक्त अधिवक्ता आयुक्त को परिसर के अंदर फिल्म बनाने का अधिकार नहीं है।

– कमेटी ने उन पर पक्षपात का आरोप लगाते हुए उन्हें बदलने की गुहार लगाई थी।

– कोर्ट ने 12 मई को कमेटी को सर्वे जारी रखने और 17 मई तक रिपोर्ट सौंपने का आदेश दिया था।

– अंजुमन इंतेजामिया मस्जिद कमेटी ने काशी विश्वनाथ मंदिर-ज्ञानवापी मस्जिद परिसर के सर्वे पर रोक लगाने की मांग को लेकर शुक्रवार को सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया।

– कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच 14 मई को फिर से अभ्यास शुरू होने के बाद समिति ने ज्ञानवापी-गौरी श्रृंगार परिसर में दो बेसमेंट का सर्वे और वीडियोग्राफी पूरी कर ली है.

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