निजी अस्पतालों पर नकेल: अब मोबाइल पर मिलेगा आयुष्मान का मैसेज इलाज पर कितना खर्च

रायपुर। आयुष्मान और डॉ. खूबचंद बघेल स्वास्थ्य सहायता योजना के नाम पर होने वाले फर्जीवाड़े पर रोक लगाने के लिए स्वास्थ्य विभाग नया डिजिटल अलर्ट सिस्टम लागू करने जा रहा है।

अब बैंक की तरह मरीज के रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर पर हर ट्रांजेक्शन का तुरंत मैसेज आएगा, जिसमें यह साफ़ दिखेगा कि इलाज पर कितनी राशि खर्च हुई और कार्ड में कितना बैलेंस बचा है। यह कदम निजी अस्पतालों की मनमानी रोकने की दिशा में बड़ा प्रयास माना जा रहा है।

पिछले कुछ महीनों में कई मरीजों ने शिकायत की थी कि उनके इलाज जितना हुआ नहीं, उससे कहीं ज्यादा राशि अस्पतालों ने कार्ड से काट ली। स्वास्थ्य विभाग के ऑडिट में भी यह पाया गया कि कुछ अस्पतालों ने कैशलेस भर्ती मरीजों से अतिरिक्त रकम वसूली थी।

इस पर सख्ती करते हुए चार अस्पतालों को एक-एक साल के लिए निलंबित किया गया और जुर्माना भी लगाया गया। वर्तमान में स्वास्थ्य बीमा योजना के तहत हर महीने करीब 150 करोड़ रुपए के क्लेम निजी और सरकारी अस्पतालों से आते हैं। टोल-फ्री नंबर 104 और 14555 पर मरीज सीधे अपनी शिकायत दर्ज करा सकेंगे। विभाग खुद भी ऑनलाइन सॉफ्टवेयर के माध्यम से लगातार डेटा का ऑडिट करेगा।

स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल ने कहा, “कुछ अस्पताल अनियमित कटौती और कार्ड ब्लॉकिंग कर रहे थे। मैसेज सिस्टम लागू होने से मरीजों को तुरंत जानकारी मिलेगी और अस्पतालों की मनमानी खत्म होगी। हमारा प्रयास है कि यह सिस्टम जल्द शुरू कर लोगों को पारदर्शी सेवा मिले।”

कैसे काम करेगा नया सिस्टम

जैसे बैंकिंग लेनदेन पर स्वचालित एसएमएस आता है, वैसे ही आयुष्मान कार्ड से जुड़े हर डिजिटल ट्रांजेक्शन की जानकारी तुरंत मोबाइल पर मिलेगी। सिस्टम पहले कार्ड के विवरण और उपलब्ध बैलेंस को वेरिफाई करेगा, फिर ट्रांजेक्शन मंजूर होने पर एसएमएस गेटवे के जरिए खर्च राशि, ट्रांजेक्शन प्रकार और नया बैलेंस की जानकारी भेज देगा। इससे मरीज अपने इलाज की वास्तविक लागत खुद मॉनिटर कर सकेंगे।

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