छत्तीसगढ़ में मस्जिदों में तिरंगा फहराने के आदेश पर विवाद, कांग्रेस और काजी ने जताया विरोध; वक्फ बोर्ड अध्यक्ष ने विरोधियों को कहा गद्दार

रायपुर। छत्तीसगढ़ वक्फ बोर्ड के अध्यक्ष डॉ. सलीम राज द्वारा 11 अगस्त को जारी आदेश के अनुसार इस स्वतंत्रता दिवस पर प्रदेश की सभी मस्जिदों, मदरसों और दरगाहों के मेन गेट पर तिरंगा फहराया जाएगा। इस निर्देश में मुस्लिम समुदाय से राष्ट्रीय पर्व की गरिमा बनाए रखने की अपील भी की गई।

हालांकि, इस आदेश पर विवाद खड़ा हो गया है। कांग्रेस नेताओं और मुस्लिम समुदाय के कई नेताओं ने इसे गलत बताया। शहर काजी मुफ्ती गुलाम किबरिया मिस्बाही ने कहा कि वक्फ बोर्ड को यह अधिकार नहीं है कि वह बताए किसे क्या करना है। उन्होंने कहा कि मस्जिदों और मदरसों में पहले से ही तिरंगा फहराया जाता है और वतन से मोहब्बत करना ईमान का हिस्सा है।

कांग्रेस नेता सलाम रिजवी ने भी आदेश का विरोध करते हुए कहा कि बीजेपी और आरएसएस में शामिल मुस्लिम नेता, समुदाय पर अनावश्यक सवाल खड़े कर रहे हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि पहले से चल रही परंपरा को राजनीतिक रंग देकर बेतुके आदेश जारी किए जा रहे हैं।

वहीं, डॉ. सलीम राज ने विरोध करने वालों को कट्टरपंथी और गद्दार करार दिया। उनका दावा है कि आदेश को 85% लोगों का समर्थन मिला है और केवल 15% लोग इसका विरोध कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय ध्वज का सम्मान हर नागरिक का कर्तव्य है और जो इसका विरोध करता है, वह देशद्रोही है। यह विवाद अब राजनीतिक और धार्मिक दोनों मोर्चों पर चर्चा का विषय बन गया है।

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