वक्फ बिल: बंगाल में हिंसा जारी, अब तक तीन की मौत

दिल्ली। पश्चिम बंगाल के मुर्शिदाबाद में शुक्रवार (11 अप्रैल) को ‘वक्फ संशोधन कानून’ के विरोध में हिंसक प्रदर्शन हुआ। उपद्रवियों ने BDO कार्यालय में तोड़फोड़ की। सरकारी बसों और वाहनों में आग लगाई। पुलिस पर पथराव किया। हालात बेकाबू होने पर इंटरनेट बंद किया गया। पुलिस ने आंसू गैस के गोले दागकर प्रदर्शनकारियों को खदेड़ा। कड़ी मशक्कत के बाद स्थिति पर काबू पाया। हिंसा में 3 लोगों की मौत की खबर है। 10 पुलिसकर्मी घायल हुए हैं।
उपद्रवियों के खिलाफ एक्शन लेने के निर्देश
पश्चिम बंगाल में हुई हिंसा को लेकर राज्य के गर्वनर सी वी आनंद बोस ने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से चर्चा की। बोस ने राज्य सरकार को मुर्शिदाबाद, मालदा और दक्षिण 24 परगना जिलों के संवेदनशील इलाकों में उपद्रव के लिए जिम्मेदार उपद्रवियों के खिलाफ एक्शन लेने के निर्देश दिए।
लोगों के जीवन से छेड़छाड़ नहीं होगी
बोस ने कहा कि सार्वजनिक व्यवस्था को बाधित नहीं किया जा सकता है और विरोध के नाम पर लोगों के जीवन से छेड़छाड़ नहीं की जा सकती है। उन उपद्रवियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी, जो सोचते हैं कि वे कानून को अपने हाथ में ले सकते हैं।
जानिए कैसे भड़की हिंसा
बता दें कि ऑल इंडिया पर्सनल लॉ बोर्ड (AIMPLB) ने 87 दिनों तक नए वक्फ कानून के विरोध में ‘वक्फ बचाव अभियान’ 11 अप्रैल से शुरू किया। AIMPLB ने कहा था कि अभियान शांतिपूर्वक किया जाएगा, लेकिन ऐसा हुआ नहीं। शुक्रवार को जुमे की नमाज के बाद अचानक हिंसा भड़क गई। मुर्शिदाबाद, नॉर्थ 24 परगना और मालदा में स्थिति बिगड़ी गई।
हंगामे के बाद इंटरनेट बंद
मुर्शिदाबाद के जंगीपुर और सुती इलाकों में बड़े पैमाने पर प्रदर्शन हुए। प्रदर्शनकारियों ने वाहनों में आग लगाई, पुलिस पर पथराव किया। राष्ट्रीय राजमार्ग 12 को भी जाम कर दिया। प्रदर्शन के कारण नेशनल हाईवे, रेल ट्रैफिक रोका गया था। हंगामे वाले इलाकों में इंटरनेट भी बंद किया गया।
12 घंटे बाद हालात पर काबू
स्थित को कंट्रोल करने के लिए बीएसएफ की मदद ली गई। पुलिस ने भीड़ को तितर-बितर करने के लिए आंसू गैस के गोले दागे। 12 घंटे बीतने के बाद स्थिति सामान्य हुई। रेल और सड़क पर ट्रैफिक चालू किया गया। हालांकि इंटरनेट बंद रखा गया है। हिंसा में 10 पुलिसकर्मी घायल हुए हैं। प्रदर्शन के दौरान 3 लोगों की मौत की भी खबर है।