रायपुर। नगर निगम रायपुर ने संपत्तिकर वसूली को लेकर बड़ा कदम उठाया है।
महापौर मीनल चौबे ने अधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक में निर्देश दिए कि शहर में जिन भवन मालिकों ने अपने घरों की छत पर मोबाइल टावर या विज्ञापन होर्डिंग लगवा रखे हैं, उनसे अब व्यावसायिक दरों पर टैक्स वसूला जाए।
उन्होंने कहा कि यह नगर निगम के लिए आय बढ़ाने का एक महत्वपूर्ण साधन है, जिसे अब सख्ती से लागू किया जाएगा। साथ ही, निगम को नए राजस्व स्रोतों की पहचान कर वित्तीय स्थिति मजबूत करने पर भी जोर दिया गया।
बैठक में उन बड़े बकायादारों की भी समीक्षा की गई, जिनकी संपत्तियां सीलबंद होने के बाद भी भुगतान लंबित है। महापौर ने स्पष्ट निर्देश दिए कि बकाया राशि वसूलने के लिए नियमानुसार आगे की कार्रवाई तुरंत की जाए और किसी तरह की ढिलाई न बरती जाए। उन्होंने चेतावनी दी कि नियमों का पालन न करने वालों को कठोर कार्रवाई का सामना करना होगा।
इसके अलावा, शहर के सभी खाली भूखंडों की गणना कर उनके खिलाफ टैक्स निर्धारण और वसूली सुनिश्चित करने के आदेश भी दिए गए। उन्होंने कहा कि खाली भूखंडों से होने वाली संभावित आय को अनदेखा नहीं किया जा सकता और इसे भी प्राथमिकता में लिया जाना चाहिए।
जनहित में महापौर ने नागरिकों से अपील की कि वे 31 दिसंबर 2025 से पहले अपना संपत्तिकर जमा कर 4% की छूट का लाभ उठाएं। समय पर कर अदा करने वाले नागरिकों को उन्होंने जिम्मेदार और सम्माननीय बताया। वहीं, देरी करने वालों के खिलाफ नियमानुसार कड़ी कार्रवाई की बात कही गई।
महापौर ने यह भी जानकारी दी कि कर भुगतान के लिए ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनों विकल्प उपलब्ध हैं, जिससे नागरिक अपनी सुविधा के अनुसार भुगतान कर सकते हैं। उन्होंने राजस्व विभाग को लक्ष्यों की प्राप्ति के लिए पूरी जिम्मेदारी से कार्य करने के निर्देश दिए।
