PMDDKY से किसानों की बढ़ी आय, जशपुर में मक्का मॉडल बना सफल उदाहरण

रायपुर। प्रधानमंत्री धन-धान्य कृषि योजना (PMDDKY) वर्ष 2025-26 से शुरू होने के साथ ही किसानों की आय बढ़ाने और कृषि को आत्मनिर्भर बनाने में एक प्रभावी कदम साबित हो रही है।

100 कम प्रदर्शन वाले कृषि जिलों पर केंद्रित इस योजना के माध्यम से 1.7 करोड़ किसानों तक लाभ पहुंचाने का लक्ष्य रखा गया है। योजना की विशेषता यह है कि 11 मंत्रालयों की 36 योजनाओं को समन्वित कर सिंचाई, भंडारण, आसान ऋण, फसल विविधीकरण और आधुनिक तकनीक पर विशेष जोर दिया गया है, ताकि किसानों को सतत समर्थन मिल सके।

जशपुर जैसे कृषि-प्रधान जिले में इस योजना ने उल्लेखनीय परिणाम दिए हैं। मुख्यमंत्री विष्णु देव साय की कृषि समर्थक नीतियों और योजनाओं के त्वरित क्रियान्वयन से किसानों को उन्नत बीज, आधुनिक उपकरण, सिंचाई सुविधाएँ और विशेषज्ञ मार्गदर्शन उपलब्ध हो रहा है।

बगीचा विकासखंड के किसान सुधीर लकड़ा इसका प्रत्यक्ष उदाहरण हैं। उनके पास कुल 3.400 हेक्टेयर भूमि है और उन्हें आत्मा योजना के तहत ग्रीष्मकालीन मक्का कार्यक्रम, डीएमएफ मद से ट्रैक्टर व कृषि यंत्र, तथा सौर सुजला योजना से सोलर सिंचाई सुविधा का लाभ मिला। इससे उनकी खेती की लागत कम हुई और उत्पादन क्षमता बढ़ी।

योजना के अंतर्गत कृषि विस्तार अधिकारियों की सलाह पर उन्होंने धान के स्थान पर प्री-बीज ग्रेड मक्का की खेती अपनाई। विभाग से निःशुल्क मिले 08 किलोग्राम बीज से 0.400 हेक्टेयर में की गई खेती से उन्हें लगभग 10 क्विंटल उत्पादन प्राप्त हुआ, जिससे उनकी आय लगभग 15,000 रुपये तक बढ़ी। इससे यह सिद्ध होता है कि सही तकनीक और मार्गदर्शन से कम लागत में बेहतर उत्पादन संभव है।

PMDDKY के माध्यम से क्षेत्र में सिंचाई सुधार, भंडारण क्षमता विकास, जैविक खेती, मशीनीकरण और फसल विविधीकरण को बढ़ावा मिल रहा है। योजना का उद्देश्य वर्ष 2030 तक किसानों की आय दोगुनी करना, कटाई के बाद नुकसान में कमी लाना और अनाज-दलहन-तिलहन में आत्मनिर्भरता सुनिश्चित करना है। साथ ही महिलाओं और युवाओं को डेयरी, मत्स्य एवं कुक्कुट पालन जैसे कृषि-आधारित व्यवसायों से जोड़ने पर भी विशेष ध्यान दिया जा रहा है।

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