UNGA में बिना नाम लिए पाकिस्तान पर जमकर बरसे पीएम मोदी, कहा- आतंकवाद का इस्तेमाल कर रहे, उन्हें भी उतना ही खतरा

नई दिल्ली। (UNGA) अमेरिका दौरे के तीसरे दिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने संयुक्त राष्ट्र महासभा के 76वें अधिवेशन को संबोधित करते हुए कहा कि जो भी आतंकवाद का इस्तेमाल कर रहे उन्हें भी समझना होगा कि यह उनके लिए भी उतना ही बड़ा खतरा है. दुनियाभर में आतंकवादी गतिविधियों के लिए कुख्यात पाकिस्तान और उसके प्रधानमंत्री इमरान खान का बिना नाम लिए पीएम मोदी ने जमकर खरी खोटी सुनाई.  प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा, ”रिग्रेसिव थिंकिंग के साथ जो देश आतंकवाद का पॉलिटिकल टूल के रूप में इस्तेमाल कर रहे हैं, उन्हें यह समझना होगा कि आतंकवाद उनके लिए भी उतना ही बड़ा खतरा है.” साथ ही अफगानिस्तान मुद्दे पर भी पीएम मोदी ने अपनी बात रखी और कहा कि उसकी धरती का इस्तेमाल आतंकवाद के लिए न हो.

‘हमले के लिए न हो अफगानिस्तान का इस्तेमाल’

प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, ”यह सुनिश्चित किया जाना चाहिए कि अफगानिस्तान की धरती का इस्तेमाल आतंकवाद फैलाने और आतंकी हमलों के लिए न किया जाए. हमें इसके लिए भी सतर्क रहने की जरूरत है कि वहां की नाजुक स्थितियों का कोई भी देश अपने स्वार्थ के लिए एक टूल की तरह इस्तेमाल करने की कोशिश न करे.” पीएम मोदी ने कहा कि इस समय अफगानिस्तान की जनता, महिलाओं, माइनॉरिटीज आदि को मदद की आवश्यकता है और हमें अपना दायित्व निभाना होगा.

कोरोना, कोविड टीके पर भी की बात

आर्थिक एवं तकनीकी प्रगति और अपने शासकीय अनुभव को साझा किया और कहा कि भारत यूपीआई के माध्यम से रोजाना 350 करोड़ से अधिक भुगतान किये जा रहे हैं। उन्होंने कोविन पोर्टल का उल्लेख करते हुए कहा कि इस पोर्टल के माध्यम से एक ही दिन में एक करोड़ से अधिक टीके लगाये जा रहे हैं। सेवा परमोधर्म: को जीने वाले भारत ने सीमित संसाधनों के बावजूद टीके के विकास एवं उत्पादन में जीजान लगा दिया है।

मोदी ने कहा कि संयुक्त राष्ट्र महासभा को जानकारी देना चाहते हैं कि भारत ने दुनिया का पहला डीएनए आधारित टीका विकसित कर लिया है जिसे 12 वर्ष से अधिक आयु के सभी लोगों का लगाया जा सकेगा। साथ ही एम आरएनए आधारित टीका भी विकसित हो रहा है। हमने नथुनों के जरिये दी जाने वाली कोरोना की वैक्सीन भी बना ली है। उन्होंने कहा कि भारत ने मानवता के लिए एक बार फिर से दुनिया को वैक्सीन देना शुरू कर दिया है।

प्रधानमंत्री ने कहा कि वह आज दुनिया के तमाम वैक्सीन निर्माताओं को आमंत्रित करते हैं कि वे आयें और भारत में टीके का उत्पादन करें। उन्होंने कहा कि हम जानते हैं कि मानव जीवन में तकनीकी का कितना महत्व है। बदलते विश्व में लोकतंत्र के साथ प्रौद्योगिकी की उपलब्धता सुनिश्चित करना आवश्यक है। किसी भी देश में भारत के डॉक्टर, इंजीनियर, पेशेवर हमारे मानवता के मूल्यों के साथ सेवा में जुटे हैं।

संयुक्त राष्ट्र की प्रासंगिकता, विश्वसनीयता बचाये विश्व समुदाय

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने संयुक्त राष्ट्र संघ की प्रासंगिकता और विश्वसनीयता पर उठे सवालों पर गहरी चिंता व्यक्त करते हुए विश्व समुदाय का आज आह्वान किया कि इस वैश्विक निकाय को विश्व व्यवस्था, वैश्विक कानूनों एवं वैश्विक मूल्यों के संरक्षण के लिए निरंतर सुदृढ़ करना होगा।

दो टूक शब्दों में विश्व शासन की इस सर्वोच्च संस्था की गिरती साख पर बेलाग टिप्पणी की। उन्होंने कहा, “संयुक्त राष्ट्र को स्वयं को प्रासंगिक बनाए रखना है तो उसे अपनी प्रभावशीलता को सुधारना होगा, भरोसे को बढ़ाना होगा। संयुक्त राष्ट्र पर आज कई तरह के सवाल खड़े हो रहे हैं। इन सवालों को हमने जलवायु परिवर्तन के संकट में देखा है, कोविड के दौरान के देखा है। दुनिया के कई हिस्सों में चल रहे छद्म युद्ध -आतंकवाद और अभी अफगानिस्तान के संकट ने इन सवालों को और गहरा कर दिया है।”

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