टीआई-तहसीलदार विवाद में नया मोड, पीड़ित ने अफसरों पर भी लगाए आरोप; सीएम-डीजीपी से शिकायत

बिलासपुर। बिलासपुर में तहसीलदार पुष्पेंद्र मिश्रा के साथ मारपीट और दुर्व्यवहार के मामले में एक बार फिर नया मोड़ आ गया है। इस मामले में आरोपी तत्कालीन सरकंडा थाना प्रभारी टीआई तोप सिंह नवरंग को क्लीन चिट देकर कोटा थाने की जिम्मेदारी सौंप दी गई है।

तहसीलदार ने इस कार्रवाई को पक्षपातपूर्ण बताते हुए पुलिस विभाग और जांच समिति पर गंभीर आरोप लगाए हैं। उनका कहना है कि जांच में शामिल तीन एडिशनल एसपी ने जानबूझकर आरोपित टीआई को बचाया। तहसीलदार का यह भी कहना है कि कोटा थाने में टीआई की पोस्टिंग इसलिए की गई है क्योंकि उनके बड़े भाई की पोस्टिंग भी उसी क्षेत्र में है, जिससे उन्हें पुलिसिया दबाव में प्रताड़ित किया जा सके।

17 नवंबर की घटना

घटना 17 नवंबर 2023 की रात की है, जिसका सीसीटीवी वीडियो और ऑडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ था। वीडियो में टीआई नवरंग तहसीलदार के साथ मारपीट करते नजर आ रहे हैं, जबकि ऑडियो में उन्हें धमकाते सुना जा सकता है। इसके बावजूद विभागीय जांच में उन्हें दोषमुक्त कर दिया गया। तहसीलदार का आरोप है कि जांच अधिकारियों ने उन्हें बयान के लिए बुलाने की जानकारी जानबूझकर देरी से भेजी, जिससे रिपोर्ट में यह दिखाया जा सके कि वह जांच में सहयोग नहीं कर रहे।

इसके साथ ही तहसीलदार ने पुलिस कार्रवाई को एकतरफा बताते हुए डीजीपी, प्रधानमंत्री कार्यालय, गृह मंत्रालय, मानवाधिकार आयोग और मुख्यमंत्री समेत 13 जगहों पर शिकायत भेजी है। उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि सूचना के अधिकार के तहत मांगी गई सीसीटीवी फुटेज, थाने का रोजनामचा और जांच रिपोर्ट अब तक उन्हें नहीं दी गई है। उन्होंने राज्य सूचना आयोग में इस संबंध में अपील दायर कर दी है। तहसीलदार का कहना है कि अगर समय रहते निष्पक्ष कार्रवाई नहीं हुई, तो वे न्याय की लड़ाई को आगे बढ़ाएंगे।

Exit mobile version